22 December, 2009

नई कर व्यवस्था से कर्मचारियों की जेब गहरी कट सकती है: अगले 3 माह में देना पड़ेगा 12 माह का टैक्स!?

सरकार ने वेतनभोगी कर्मचारियों के आवास व यात्रा जैसे विभिन्न अनुलाभ भत्तों पर कर की गणना के नए नियमों को अधिसूचित कर दिया है। इससे वेतनभोगी वर्ग पर कर का बोझ और बढ़ जाएगा। कर्मचारियों की कर देनदारी की गणना नये नियमों के अनुसार होगी और यह समाप्त कर दिए गए फ्रिंज बेनिफिट टैक्स (एफबीटी) की जगह लेगा। इससे वेतनभोगियों की जेब पर बोझ और बढ़ जाएगा।

मिल रही खबरों के अनुसार नियोक्ता द्वारा अपने कर्मचारी के परिवार को दिए जाने वाले आवास भत्ते, यात्रा भत्ते तथा अन्य अनुलाभों को शीघ्र ही आयकर काटने के उद्देश्य से वेतन में शामिल किया जायेगा। यह व्यवस्था एक अप्रैल, 2009 से लागू होगी।

उल्लेखनीय है कि अब तक वेतनभोगी कर्मचारी के इन भत्तों पर कर, नियोक्ता कंपनी एफबीटी के रूप में चुकाती थी। वित्तमंत्री प्रणव मुखर्जी ने एफबीटी को 2009-10 के बजट में समाप्त कर दिया था। जिन लाभों को करयोग्य वेतन में शामिल किया जाएगा उसमें नियोक्ता द्वारा देय आवास सुविधा, आधिकारिक तथा व्यक्तिगत इस्तेमाल के लिए वाहन पर खर्च, चालक का वेतन, नियोक्ता द्वारा दिए जाने वाले माली और सफाई कर्मचारी के वेतन तथा कर्मचारी के बच्चों को देय रियायती शिक्षा शामिल है।

केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड की वेबसाइट पर उपलब्ध अधिसूचना के अनुसार उक्त सभी अनुलाभ भतों को मूल्यांकन नियमों में शामिल किया गया है। आवासीय तथा यात्रा भत्ते के साथ-साथ नियोक्ता द्वारा उपलब्ध कराई जाने वाली यात्रा, नि:शुल्क भोजन तथा शीतल पेय, आयोजन अवसरों पर कर्मचारी को मिले उपहार या वाउचर, यात्रा भत्ता व किसी क्लब की सदस्यता के लिए किए गए भुगतान के लिए मिलने वाली राशि की गणना भी नई आयकर गणना प्रणाली में होगी।

उल्लेखनीय है कि अनुलाभों को इससे पहले कर उद्देश्य के लिए वेतन में शामिल किया गया था लेकिन उन्हें एफबीटी कहा गया था। उनका भुगतान कंपनी करती थी न कि कर्मचारी। जहां तक सरकारी कर्मचारियों की बात है तो नए गणना या मूल्यांकन नियम प्रतिनियुक्ति वाले कर्मचारियों के अलावा सभी के लिए समान होंगे। अर्नेस्ट एंड यंग के कर सहयोगी अमिताभ सिंह ने नये आयकर आकलन नियमों के बारे में पूछने पर कहा कि एफबीटी प्रणाली के तहत अनुलाभ का कर बोझ नियोक्ता पर रहता था लेकिन अब यह कर्मचारी पर होगा।

16 December, 2009

बैंक कर्मचारी आज, 16 दिसम्बर को राष्ट्रव्यापी हड़ताल पर

देश के सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को एकीकृत करने के विरोध में बैंक कर्मचारी 16 दिसम्बर को राष्ट्रव्यापी हड़ताल पर रहेंगे। हड़ताल का आयोजन अखिल भारतीय बैंक कर्मचारी संघ और अखिल भारतीय बैंक अधिकारी संघ ने किया है। हड़ताल में सार्वजनिक, निजी और विदेशी सभी बैंकों के कर्मचारी शामिल हैं लेकिन इसका प्रभाव मुख्य रूप से सार्वजनिक बैंकों पर ही पड़ने की संभावना है।

फेडरल बैंक ने बंबई स्टॉक एक्सचेंज को एक बयान में बताया कि हड़ताल से उसकी शाखाओं में सामान्य कामकाज प्रभावित हो सकता है। तेलंगाना के प्रस्तावित विभाजन के कारण आंध्र प्रदेश में कानून व्यवस्था की संवेदनशील स्थिति को देखते हुए वहां के बैंकों को हड़ताल से मुक्त रखा गया है।

28 November, 2009

दस लाख बैंककर्मियों के वेतनमान पर समझौता हुया

दस लाख बैंक कर्मचारियों और अधिकारियों के वेतन वृद्धि और पेंशन को लेकर इंडियन बैंक एसोसिएशन (आईबीए) और यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन (यूएफबीयू) के बीच समझौता हो गया है। इस समझौते के तहत बैंक कर्मचारियों को 17.5 फीसदी वेतन वृद्धि और दूसरी बार पेंशन का विकल्प दिया जाएगा। नए कर्मचारियों को अगले वित्त वर्ष से न्यू पेंशन सिस्टम (एनपीएस) में शामिल किया जाएगा। कई दौर की वार्ताओं के बाद मुंबई में हुए इस समझौते के तहत वेतन वृद्धि एक नवंबर 2007 से लागू होगी।

इसमें अधिकारी वर्ग की वेतन वृद्धि से 2,239 करोड़ रुपये और कर्मचारियों की वेतन वृद्धि से 2577 करोड़ रुपये का भार पड़ेगा। वर्ष 1993 में पेंशन स्कीम को न अपनाने वाले बैंक कर्मचारियों को पेंशन का दूसरा विकल्प देने पर भी दोनों पक्ष सहमत हो गए हैं। दूसरा पेंशन विकल्प देने से बैंकों पर छह हजार करोड़ रुपये का अतिरिक्त भार पड़ेगा। पेंशन भार का 70 फीसदी बैंक वहन करेंगे जबकि 30 फीसदी कर्मचारियों को वहन करना होगा

एक अप्रैल 2010 के बाद बैंक सेवाओं में आने वाले कर्मचारियों को एनपीएस में शामिल करने पर सहमति हो गई है।

आईबीए के सदस्य बैंकों में 7.50 लाख बैंक कर्मचारी हैं जबकि 2.50 लाख बैंक अधिकारी हैं। फिलहाल दोनों पक्षों के बीच मेमोरेंडम ऑफ अंडरस्टेंडिंग (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए गए हैं। इसे 90 दिनों के अंदर अंतिम रूप देकर ज्वाइंट नोट तैयार किया जाएगा।

समझौते पर सार्वजनिक क्षेत्र के भारतीय स्टेट बैंक और इसकी पांच सब्सिडियरी को छोड़कर शेष सभी आईबीए के सदस्य बैंकों ने हस्ताक्षर किए हैं। कई निजी और विदेशी बैंक भी इसमें शामिल हैं।

हस्ताक्षर न करने के कारण एसबीआई और इसकी सब्सिडियरी बैंकों के कर्मचारियों पर यह समझौता लागू नहीं होगा।

कुल मिलाकर सार्वजनिक, निजी क्षेत्र और विदेशी 77 बैंकों के अधिकारियों और कर्मचारियों पर यह समझौता लागू होगा।

02 September, 2009

बायोमीट्रिक प्रणाली से उपस्थित: महीने में कुल दस मिनट देर पर एक दिन की छुट्टी

भारत के सरकारी कर्मचारियों के लिए गृह मंत्रालय के कार्यालय में समय की पाबन्दी को बढ़ावा देने के लिए बायोमीट्रिक स्कैनर्स लगाये गए हैं। सरकारी कर्मचारियों के लिए काम पर समय से आने का संदेश गृह मंत्री पी चिंदबरम नई दिल्ली स्थित ने कार्यालय में सुबह नौ पहुँच कर और एक बायोमीट्रिक स्कैनर पर अपनी बीच की उंगली रख कर अपने आने का समय दर्ज कर दिया।

गृह मंत्री की तरह गृह मंत्रालय के हजारों कर्मचारी अपने आने जाने का समय दर्ज करने के लिए यही करेंगे। एक महीने दस मिनट देर से आने पर एक दिन की छुट्टी कटेगी। यह सरकारी कर्मचारियों की देर से आने और जल्दी चले जाने की परम्परा समाप्त करने की शुरुआत है.

रेल कर्मियों को एरियर, बोनस, मंहगाई भता इसी माह में!

दीवाली से महीना भर पहले ही रेल कर्मियों के घर लक्ष्मी का वरद हस्त इस बार पूरी तरह रहेगा। इस महीने रेल कर्मियों को छठे वेतन आयोग की सिफारिशों पर बढ़े वेतन का बकाया रहता 60 प्रतिशत जो मिलने वाला है। इसके साथ 75 दिन के बोनस से भी रेल कर्मी लाभान्वित होंगे। और तो और पांच फीसदी महंगाई भत्ता भी मूल वेतन के साथ इसी माह मिलेगा।

केंद्र सरकार द्वारा घोषित छठे वेतन आयोग की सिफारिशों के आधार पर रेल विभाग ने अपने अधीनस्थ कर्मचारियों को एक जनवरी 2006 से बकाया राशि दो चरण में देने का निर्णय लिया था और प्रथम किस्त के रूप में सभी रेल कर्मचारियों को बनती राशि की 40 फीसदी अदायगी नवंबर 2008 में कर दी गई और बकाया के भी अतिशीघ्र भुगतान का भरोसा दिया। अब उस बकाया 60 फीसदी राशि के लिए सितंबर माह निर्धारित हुआ है और संभावना है कि 15 से 17 सितंबर के अंतराल में तमाम कर्मचारियों को उनका बनता बकाया ऐरियर अदा कर दिया जायेगा।

रेल विभाग अपने कर्मचारियों को 75 दिन का बोनस भी इसी माह देगा। नियमानुसार सीलिंग बोनस के आधार पर 3500 रुपये प्रति माह के हिसाब से प्रत्येक रेल कर्मी को बनती राशि 24 सितंबर तक मिल जाने की खबर है।

अपने कर्मचारियों को रेलवे द्वारा महंगाई भत्ता भी इसी माह अदा होगा। प्रत्येक कर्मचारी को 5 फीसदी महंगाई भत्ता उनके मूल वेतन के साथ ही प्रारंभिक सप्ताह में अदा किया जाएगा।

26 August, 2009

केंद्रीय कर्मचारियों को त्योहारों पर तोहफा

सरकार ने छठे वेतन आयोग की सिफारिशों के लागू होने के बाद एरियर (बकाया राशि) की दूसरी किश्त जारी करने की घोषणा की है। खबरों के अनुसार दूसरी किश्त सितंबर में मिलने की संभावना है।

वेतन आयोग की सिफारिशें लागू होने के बाद वेतन बढ़ोतरी को जनवरी 2006 से लागू किया गया था। इस कारण केंद्रीय कर्मचारियों को एरियर का भुगतान किया गया, मगर सरकार ने इसे दो भागों में देने का फैसला किया था।
वित्त मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार केंद्रीय कर्मचारियों को एरियर राशि जारी कर दी गई है। अब इसका ज्ञापन सभी केंद्रीय सरकारी मंत्रालयों और विभागों में भेजा जाएगा। इसके बाद मंत्रालय और विभाग अपने कर्मचारियों और अधिकारियों की बकाया राशि का आकलन करने के बाद इसे देंगे। ऐसे में एरियर सितंबर माह के वेतन में ही संभव हो पाएगा।

जो कर्मचारी 1 जनवरी 2004 के बाद से नौकरी में आये है, उनको दूसरी किश्त तभी मिलेगी, जब वे नई पेंशन स्कीम लेंगे। सरकारी कर्मचारियों को पहले की तरह अपने एरियर की दूसरी किश्त को भी साधारण भविष्य निधि (जीपीएफ) में जमा करने की भी छूट रहेगी।

19 August, 2009

सुंदर सेल्स गर्ल से बिक्री कम हो जाती है दुकान की!

यह खबर भी कम मजेदार नहीं। अभी तक यह माना जाता था कि यदि काउंटर पर सुंदर सेल्स गर्ल हो बिक्री बढ़ जाती है। लेकिन यूनिवर्सिटी ऑफ साउथ आस्ट्रेलिया के एक ताजा सवेक्षण में यह निष्कर्ष निकाला गया है कि काउंटर पर सुंदर लड़कियों को बिठाना भी नुकसानदायक हो सकता है। शोध के मुताबिक जहां सेल्स गर्ल ज्यादा सुंदर होती है, वहां पर महिलाएं सामान खरीदना पसंद नहीं करतीं। क्योंकि उन्हें यह बात पसंद नहीं होती कि सेल्स गर्ल उनसे ज्यादा सुंदर और आकर्षक दिखे। सुंदर सेल्स गर्ल के कारण पुरुष भले उस दुकान की ओर आकषिर्त होते हों, लेकिन महिलाओं द्वारा उपेक्षित रह जाने कारण उस दुकान की बिक्री कम हो जाती है।

इस संबंध में शोधकर्ता बिनाका प्राइस का कहना है कि महिलाओं में स्वाभाविक प्रतिस्पर्धा पाई जाती है। खरीदारी के लिए दुकान पर जाने वाली किसी महिला को लगता है कि काउंटर पर खड़ी सेल्स गर्ल उससे बेहतर है। तब वह उस दुकान से सामान खरीदना पसंद नहीं करती। इस लिहाज से खुदरा जगत में महिलाओं की यह प्रतिक्रिया दुकान की बिक्री को सीमित कर सकती है। प्राइस इसके पीछे मनौवैज्ञानिक कारणों को देखती हैं। उनका मानना है कि जब कोई महिला यह देखती है कि सेल्स गर्ल उससे सुंदर है तो वह अंदर ही अंदर बेचैन हो जाती है। उसका आत्मविश्वास नीचे चला जाता है और वह उस दुकान की ओर रुख करना पसंद नहीं करती।

18 August, 2009

महिलाएं चाहती हैं पुरूष बॉस!

वैसे तो यह खबर विदेश से आई है, लेकिन है कुछ चुटीली। हो सकता है यहाँ भी ऐसा ही कुछ सोचा जाता हो! दर असल ब्रिटेन में एक सर्वे में यह बात सामने आई है कि ज्यादातर महिलाएं किसी पुरूष बॉस के अधीन काम करना पंसद करती हैं। ब्रिटेन में मेल ऑनलाइन ने इस सर्वे को करवाने वाली वेबसाइट ‘वनपोल डाट कॉम’ के हवाले से खबर दी है कि दो-तिहाई महिला कर्मियों ने अपने कार्यालय में पुरूष बॉस को तरजीह दी क्योंकि वे अच्छे प्रबंधक साबित होते हैं तथा उनके मूड में भी बहुत ज्यादा बदलाव नहीं आता।

दो हजार महिलाओं में करवाए गए इस सर्वे में पूर्णकालिक और अंशकालिक दोनों तरह की काम करने वाली महिलाएं थीं जिनमें से 63 फीसदी ने पुरूष बॉसों पर अपनी सहमति बनाई जबकि सिर्फ 37 प्रतिशत महिलाओं ने ही महिला बॉसों को चुना। पुरूष बॉसों को चुनने के पीछे महिलाओं का तर्क था कि वे महिला बॉसों की अपेक्षा ज्यादा साफ और सीधे बात करने वाले तथा निर्णय लेने में अच्छे होते हैं। प्रतिभागियों ने यह भी कहा कि पुरूष बॉस व्यापार चलाने में सम्पूर्ण दृष्टिनिर्देश रखते हैं जिससे कम्पनी लम्बे समय के लिए उन्नति करती है।

हालांकि सर्वे में यह बात भी सामने आई है कि महिला बॉस कार्यालय के अंदर कर्मचारियों के निजी मसलों को सुलझाने में ज्यादा कारगर होती हैं लेकिन पूरी तरह गाड़ी खींचने के लिए महिलाओं ने पुरूष बॉसों पर ही अपनी इच्छा कायम रखी।

आप भी देखिए दो लेख, यहाँ और यहाँ

27 June, 2009

एयर इंडिया के कर्मचारियों हेतु, बिना वेतन के स्वैच्छिक अवकाश की घोषणा

नकदी के संकट से जूझ रही एयर इंडिया ने अपने कर्मचारियों के लिए बिना वेतन के स्वैच्छिक अवकाश की घोषणा की है। साथ ही प्रबंधन और यूनियन के प्रतिनिधियों को लेकर एक समिति का गठन किया गया है जो इस सरकारी एयरलाइंस को बदहाली से उबारने के उपाय सुझाएगी।

एयर इंडिया की ओर से जारी नोटिस में कहा गया कि योजना के तहत स्थाई कर्मचारी दो साल तक के लिए बिना वेतन या भत्ते के अवकाश पर जा सकते हैं और दोबारा उसी पद पर लौट सकते हैं, जहां से वे छुट्टी पर गए थे।

एयर इंडिया कर्मचारियों का वेतन भुगतान में देरी के विरोध में धरना

एक पखवाड़े तक वेतन टाले जाने के फैसले के विरोध में एयर इंडिया के कर्मचारियों ने प्रबंधन के खिलाफ शुक्रवार को हवाई अड्डे पर धरना दिया। एविएशन इंडस्ट्री इम्प्लायज गिल्ड (AIEG) के क्षेत्रीय महासचिव वी. जे. डेका ने बताया कि इंडिया के कर्मचारियों ने देश भर में अपने संबंधित स्टेशनों पर धरना दिया। उन्होंने कहा कि विरोध हमारे वेतन को एक पखवाड़े तक के लिये टाले जाने के प्रबंधन के फैसले के खिलाफ है। एयर इंडिया के तीन कर्मचारी संगठन एआईईजी, एयर कॉरपोरेशन एंप्लॉयीज यूनियन (ACEU) और इंडियन एयरक्राफ्ट टेक्नीशियंस असोसिएशन (IATA)ने इससे पहले 22 से 25 जून तक विरोध स्वरूप काला बिल्ला लगाने का फैसला किया था।

यूनियन का कहना था कि अगर प्रबंधन 30 जून को वेतन देने में विफल रहता है तो करीब 24,000 कर्मचारी 'वेतन नहीं, काम नहीं' के तहत अपनी ड्यूटी का बहिष्कार करेंगे।

24 June, 2009

कोल इंडिया में अब अधिकतम 10 लाख रुपए तक ग्रेच्युटी

कोल इंडिया के कर्मचारियों और अधिकारियों को 3.50 लाख की जगह अब अधिकतम 10 लाख रुपए तक ग्रेच्युटी मिलेगी। इससे पहले यह सीमा साढ़े तीन लाख तक की थी। इससे कोल इंडिया के 4.50 लाख और एसईसीएल के करीब 80 हजार कर्मचारियों को लाभ मिलेगा।

कोल इंडिया के अफसरों की तनख्वाह बढ़ाने के महीने भर बाद ही कर्मचारियों और अधिकारियों को दूसरी सौगात मिली है कि ग्रेच्युटी की राशि करीब तीन गुना बढ़ा दी गई है। पूर्व में रिटायरमेंट या अन्य किसी कारण से सेवामुक्त होने पर कर्मचारियों को उनकी उपस्थिति के आधार पर अधिकतम साढ़े तीन लाख रुपए तक ग्रेच्युटी दी जाती थी। राष्ट्रीय कोयला वेतन समझौता-8 के अंतर्गत अब यह राशि अधिकतम 10 लाख तक मिलेगी।

कोल इंडिया से इस आशय के बारे में आदेश, प्रबंधन को मिल गए हैं। भविष्य में जो भी कर्मचारी या अधिकारी सेवामुक्त या फिर सेवानिवृत्त होंगे, उन्हें ग्रेच्युटी एक्ट के प्रावधानों को पूरा करने पर नए नियमों के अनुसार ग्रेच्युटी की राशि मिलेगी। उल्लेखनीय है कि कोल इंडिया ने अफसरों की तनख्वाह 30 फीसदी तक बढ़ाने का आदेश माह भर पूर्व जारी किया था।

उन्हें 1 जनवरी 2007 से एरियर्स दिया जाएगा। इसके बाद यह फैसला उनके लिए दूसरी सौगात होगा।

23 June, 2009

एयर इंडिया अपने कर्मचारियों के वेतन में कमी करेगी

एयर इंडिया ने आज साफ कर दिया कि वह अपने कर्मचारियों के वेतन में कमी करेगी। लेकिन एक भी कर्मचारी की छंटनी नहीं होगी। कम्पनी ने ऐलान किया है कि वेतन में कमी और दूसरे गैर-जरूरी खर्चों में कटौती कर उसका 500 करोड़ रुपए बचाने का लक्ष्य है। एयर इंडिया प्रबंधन और कर्मचारी यूनियन के बीच हुई बातचीत में कर्मचारियों के खर्च से यह कटौती करने की बात तय हुई है।

खर्चों में कटौती के लिए एयर इंडिया ने एक नई समिति बनाई है, जिसमेंमानव संसाधन और वित्तीय विभाग के अधिकारी शामिल हैं। यह देखेगी कि किस तरह से यह कटौती की जा सकती है। यह समिति 15 जुलाई तक अपनी रिपोर्ट दे देगी और उसके सुझावों पर जल्द से जल्द अमल करने की कोशिश की जाएगी। वैसे मंदी की मार सहती कम्पनी भारी घाटे से गुजर रही है। पिछले साल कम्पनी को 4,000 करोड़ रुपए का घाटा हुआ था। वहीं इस साल एयर इंडिया को हर रोज 14-15 करोड़ रुपए का घाटा हो रहा है।

वैसे फिलहाल फंड संबंधित दिक्कतों का सामना करती एयर इंडिया की कर्मचारी संख्या 31,000 है।

15 June, 2009

NJCS की बैठक कल: किसी नतीजे पर पहुँचने की उम्मीदें बढ़ीं

एनजेसीएस की बैठक 16 जून को नई दिल्ली में है। इसमें वेतन पुनर्निर्धारण पर ही चर्चा होगी। अधिकांश यूनियन नेताओं को इस बैठक में वेज रिवीजन फाइनल हो जाने की उम्मीद है। पिछली बैठक में मैनेजमेंट ने बेसिक व डीए का 25 फीसदी मिनिमम गारण्टेड बेनिफिट देने का आफर दिया था। यूनियन नेताओं ने इसे बढ़ाने की मांग की और बात नहीं बनी। आखिरकार मामला अगली बैठक के लिए टल गया। मंगलवार को होने वाली बैठक कहीं फिर बेनतीजा समाप्त तो नहीं होगी? इस सवाल पर कुछ केंद्रीय यूनियन नेता फिलहाल अपना नाम प्रकाशित न करने के अनुरोध के साथ बताते हैं कि इस बार की बैठक में उन्हें ठोस नतीजे की उम्मीद है।

उनके अनुसार प्रबंधन पहले केवल मूल वेतन पर ही मिनिमम गारण्टेड बेनिफिट का आफर दे रहा था लेकिन उसने पिछली बैठक में बेसिक व डीए पर एमजीबी का आफर दिया। यह एक अच्छा संकेत है और यूनियन नेताओं की बड़ी जीत है। यूनियन नेताओं के अनुसार मैनेजमेंट पिछली बैठक में यूनियन की मांग के काफी करीब पहुंच गया था। अब उस पर और थोड़ा दबाव बनाने की जरूरत है। यदि वह 30 प्रतिशत मिनिमम गारण्टेड बेनिफिट देने के लिए इस बैठक में सहमत हो जाता है तो बात बन सकती है जिसकी संभावना ज्यादा नजर आ रही है।

कुछ यूनियन नेताओं का अयह भी कहना है कि वे अफसरों के वेतन पुनर्निर्धारण का भी इंतजार कर रहे थे। यदि अफसरों का वेतन पुनर्निर्धारण हो जाता तो उनके न्यूनतम मूल वेतन के आधार पर कर्मियों के लिए भी दबाव बनाना ज्यादा कारगार रहता। अब तक अफसरों का वेज रिवीजन नहीं होने से वे बहुत ज्यादा दबाव बनाने की स्थिति में नहीं हैं।

पिछले वेतन पुनर्निर्धारण में अफसरों व कर्मियों के बीच वेतन ढ़ाँचे में बहुत ज्यादा अंतर हो गया था। कर्मी उम्मीद कर रहे हैं कि इस वेज रिवीजन में उस अंतर की कुछ हद तक भरपाई हो सकेगी। वैसे प्रबंधन ने पिछली बैठक में जो प्रस्ताव दिया था उसके हिसाब से गणना करने पर न्यूनतम मूल वेतन 8102 रुपए होता है। इस बेसिक को यूनियन नेता और कितना बढ़वा पाते हैं यह मंगलवार की बैठक में ही स्पष्ट हो सकेगा। यूनियन नेताओं की उम्मीदों के विपरीत अगर बैठक बेनतीजा समाप्त हुई तो कर्मियों को फिर एक बार निराश होना पड़ेगा। वरना अफवाहों पर ध्यान दिया जाये तो 22 जून से भुगतान की भी बातें चल रहीं!

एयर इंडिया के कर्मचारियों के वेतन भुगतान में देरी

धन की कमी के चलते एयर इंडिया के कर्मचारियों को इस महीने का वेतन एक पखवाड़े की देरी से मिल पाएगा। इख़ॉनॉमिक टाइम्स के मुताबिक इस सार्वजनिक विमानन कंपनी के प्रवक्ता ने इसकी पुष्टि की है। उन्होंने कहा,' कंपनी में संसाधनों की कमी के कारण जून माह का वेतन 15 जुलाई तक दिया जाएगा।'

08 June, 2009

फिर बिज़नेस क्लास में एलटीसी

एलटीसी पर सफर करने वाले नौकरशाह दोबारा राजसी हवाई यात्रा का मजा ले सकेंगे। कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग (DOPT) ने उन्हें फिर से हवाई जहाज के बिजनेस क्लास में यात्रा करने की मंजूरी दे दी है। छह महीने पहले वित्त मंत्रालय ने बिजनेस क्लास में उनकी यात्रा पर रोक लगाते हुए उन्हें सस्ते इकोनामी क्लास में यात्रा करने के निर्देश दिए थे।

डीओपीटी द्वारा जारी नए आदेश के तहत अधिकारी और उनके परिवार के लोग एलटीसी पर किसी भी एयरलाइन के बिजनेस क्लास में सफर कर सकते हैं। बशर्ते उसका किराया एयर इंडिया के बिजनेस क्लास के बराबर या उससे कम हो। आदेश में कहा गया है कि नागरिक उड्डयन मंत्रालय बिजनेस क्लास में सफर करने के लिए एलटीसी 80 की तर्ज पर कोई स्कीम ला सकता है। यह निर्णय वित्त मंत्रालय की सलाह के बाद लिया गया है।

02 June, 2009

उत्तर प्रदेश के कर्मचारियों को जनवरी 2009 से 22% मंहगाई भत्ता

उत्तर प्रदेश सरकार ने सभी पूर्णकालिक नियमित राज्य कर्मचारियों, सहायता प्राप्त शिक्षण एवं प्राविधिक शिक्षण संस्थाओं, शहरी स्थानीय निकायों के नियमित एवं पूर्णकालिक कर्मचारियों तथा यूजीसी वेतनमानों में कार्यरत पदधारकों के लिए महंगाई भत्ते की संशोधित दरों का शासनादेश जारी कर दिया है। संशोधित दर पर महंगाई भत्ता पहली जनवरी 2009 से देय होगा और यह मूल वेतन का 22 प्रतिशत होगा।

पहली जनवरी से 31 मई तक देय महंगाई भत्ता भविष्य निधि खाते में डाल दिया जायेगा। इसे पहली जनवरी से ही भविष्य निधि खाते में जमा माना जायेगा। जून से देय महंगाई भत्ता जुलाई से नकद मिलने लग जाएगा। जिन कर्मियों की सेवाएं इस शासनादेश के जारी होने की तिथि से पूर्व समाप्त हो गई हों या जो अधिवर्षता की आयु पर 31 मार्च 2010 तक सेवा निवृत्त होने वाले हों, उनको देय महंगाई भत्ते की बकाये धनराशि का भुगतान नकद किया जाएगा।

शासनादेश में यह भी कहा गया है कि स्वीकृत महंगाई भत्ता उन कर्मचारियों, शिक्षकों को भी, जो प्रभावी होने की तिथि [एक जनवरी 2009] को सेवारत थे लेकिन शासनादेश जारी होने से पूर्व किन्हीं कारणों- चाहे अनुशासनिक कार्रवाई के कारण, मृत्यु के कारण या इस्तीफा देने के कारण समाप्त हो गई हैं, सेवा समाप्ति की तिथि तक अनुमन्य होगा।

सरकार ने स्पष्ट किया है कि महंगाई भत्ते के आगणन के लिए मूल वेतन का तात्पर्य एक जनवरी 2008 से लागू, पुनरीक्षित वेतन संरचना में कर्मचारियों का अनुमन्य वेतन बैंड में वेतन तथा अनुमन्य ग्रेड वेतन के योग से होगा किन्तु नियमित वेतनमान में अनुमन्य वेतन ही मूल वेतन माना जाएगा। विशेष वेतन, सीमान्त विशेष वेतन, भत्ता, वैयक्तिक वेतन, प्रतिनियुक्ति भत्ता, वेतन आदि भले ही मूल नियम के अंतर्गत वेतन की परिभाषा में आते हों, को मूल वेतन के साथ शामिल नहीं किया जाएगा। प्रैक्टिस वेतन भत्ता को वेतन का अंश माना जाएगा।

11 May, 2009

बीएसएनएल के ढाई लाख कर्मियों को मिलेगा दोहरा लाभ

भारत संचार निगम लिमिटेड के लगभग ढाई लाख कर्मचारियों को दोहरा लाभ मिल सकेगा। बीएसएनएल बोर्ड की ओर से उनके लिए प्रोन्नति नीति पर मुहर लगा दी गयी है। यह प्रमोशन पालिसी पिछले सात माह से बोर्ड में अटकी पड़ी थी। अब नयी सरकार को सिर्फ हरी झंडी देनी है और प्रोन्नति नीति लागू हो जाएगी तब बीएसएनएल कर्मियों को छठे वेतन आयोग का लाभ दोगुना हो जाएगा। इसके बाद समूह के कर्मचारियों को तीन से साढ़े चार हजार तथा समूह के कर्मचारियों को डेढ़ से ढाई हजार रुपये तक का वेतन में फायदा हो सकेगा।

प्रोन्नति नीति लागू किए जाने के लिए बीएसएनएल के विभिन्न संगठन काफी दिनों से आंदोलित हैं। इसी चार मई को भी दिल्ली में अखिल भारतीय स्तर पर प्रदर्शन किया गया था। जिसमें इलाहाबाद समेत प्रदेश से लगभग चार हजार कर्मचारी शिरकत करने दिल्ली गए थे। इस घेराव-प्रदर्शन और रैली के बाद बीएसएनएल बोर्ड की ओर से प्रोन्नति नीति पर अपनी हामी भर दी और संस्तुति कर शासन को भेज दी। अब नयी सरकार बनने के बाद इस पर कैबिनेट की मुहर भर लगनी बाकी है।

उम्मीद जताते वाले बताते हैं कि सरकार नयी प्रोन्नति को हरी झंडी दे देगी क्योंकि बीएसएनएल बोर्ड ही मुख्य था जिसने एप्रूवल दे दिया है। उन्होंने बताया कि इससे समूह के सीनियर टीओए, टीओए, आपरेटर, क्लर्क, स्टेनोग्राफर, टेलीग्राफर, तारघर के बाबू, टीटीए आदि के वेतन में तीन से साढ़े चार हजार रुपये की बढ़ोतरी हो सकेगी तथा समूह के फोन मैकेनिक, लाइन मैकेनिक, नियमित मजदूर, चौकीदार, चपरासी, गेटमैन आदि के वेतन में डेढ़ से ढाई हजार रुपये तक वृद्धि होगी। अब इस नीति के लागू होने के बाद छठे वेतन आयोग की सिफारिश लागू की जाएगी तो कर्मचारियों को 60-65 फीसदी का लाभ होगा। जैसे आईटीएस संवर्ग के अधिकारियों के वेतन में 62 से 72 की वृद्धि हुई है उसी तरह कर्मचारियों को भी लाभ हो सकेगा।

प्रोन्नति नीति के बाद अब छठे वेतन आयोग की संस्तुतियों के लागू किए जाने के लिए बीएसएनएल कर्मी आंदोलन करेंगे। 19 एवं 20 मई को इसके लिए अखिल भारतीय स्तर पर हड़ताल किया जाएगा। बताया जाता है कि बीएसएनएल के इग्जीक्यूटिव अफसरों एवं क्लास वन के अधिकारियों के लिए छठा वेतना आयोग लागू हो गया है। आईटीएस अधिकारियों को भी इसका लाभ मिलने लगा है। अब सिर्फ समूह ग और घ के कर्मचारी ही छठे वेतन के लाभ के लिए बाकी हैं।

22 April, 2009

मौजां ही मौजां: पंजाब कर्मियों का वेतन 27 फीसदी बढ़ेगा

वेतन आयोग के अध्यक्ष एसके टुटेजा ने पंजाब के कर्मचारियों के वेतन में औसतन 27 फीसदी बढ़ोतरी और सेवानिवृत्ति की उम्र 58 से 60 वर्ष करने की सिफारिश की है। उन्होंने 20 अप्रैल को अपनी रिपोर्ट राज्य के मुख्य सचिव आरआई सिंह को सौंप दी। लोकसभा चुनाव के बाद यह सिफारिशें लागू होंगी। इसका फायदा हिमाचल प्रदेश के कर्मचारियों को भी मिलेगा। हिमाचल में पंजाब का पैटर्न ही लागू होता है। पंजाब के मुख्य सचिव सिंह ने इन सिफारिशों को लागू करने के लिए कमेटी का गठन किया है। यह कमेटी अपनी रिपोर्ट कैबिनेट को देगी। नया वेतनमान 1 जनवरी 2006 से लागू होगा। आयोग ने वेतन और पेंशन के एरियर का बकाया 4800 करोड़ रुपए देने की भी सिफारिश की गई। यह भी 1 जनवरी 2006 से देय होगा। केंद्र सरकार की तर्ज पर डीए मिलेगा। इसका फायदा यह होगा कि भत्ते दोगुना हो जाएंगे।

आयुर्वेदिक, होम्योपैथिक, वेटनरी, पीसीएमएस और दंत चिकित्सकों को बेसिक पे का 25 फीसदी एनपीए मिलेगा। क्लास वन अफसर को 30 फीसदी डेपुटेशन भत्ता मिलेगा। नेत्रहीन और विकलांग कर्मचारियों के परिवहन भत्ते में 450 रुपए बढ़ोतरी करने की सिफारिश है। जिन कर्मचारियों के दो बच्चे हैं उनको 500 रुपए प्रति माह भत्ता और मेडिकल भत्ता 250 से 500 रुपए कर दिया गया है। हर कर्मचारी को 100 से 500 रुपए तक मोबाइल फोन भत्ता मिलेगा।

अति संवेदनशील पदों पर नियुक्त कर्मचारियों को जोखिम भत्ता के स्थान पर जोखिम बीमा से कवर किया जाएगा। यह पांच से 15 लाख रुपए तक होगा। इसका प्रीमियम राज्य सरकार देगी। ग्रुप सी और डी के कर्मचारियों को परिवार दो बच्चों तक सीमित रखने पर एक फीसदी अतिरिक्त वेतन बढ़ोतरी की सिफारिश की गई है।

नौकरी के दौरान मृत्यु होने पर एक्सग्रेशिया एक लाख से बढ़ा कर तीन लाख रुपए करने की सिफारिश की गई है। अगर मृत्यु दंगों, आतंकी हमले या देश विरोधी तत्वों के हाथों होती है तो एक्सग्रेशिया 10 लाख रुपए मिलेगा। आश्रित को पेंशन दस साल तक बढ़ोतरी दर से मिलेगी। रिपोर्ट में सुझाव दिया गया है कि एडवांस ऑफ ग्रांट बैंकों के जरिए दिया जाए। इस पर ब्याज दर दो फीसदी कम देना होगा।

80 से 100 साल तक होने पर रिटायर कर्मियों को या फिर उनके परिवारिक सदस्यों को मिलने वाली पेंशन उच्च स्तर की दर से मिलेगी। इसके साथ ही 65 से 75 वर्ष तक होने पर ओल्ड ऐज भत्ता पुराने स्तर पर मिलता रहेगा।

सभी मौजूदा व पेंशन प्राप्त कर्मियों के लिए इंश्योरेंस स्कीम का सुझाव दिया गया है। सचिवालय और निजी स्टाफ को आपस में मर्ज करने का भी सुझाव है। भविष्य में नई भर्ती एग्जीक्यूटिव असिस्टेंट के तौर होगी। यह एग्जीक्यूटिव असिस्टेंट व निजी स्टाफ का काम देखेगा। जिसकी योग्यता कम से कम ग्रेजूएशन एवं एक साल का कंप्यूटर का डिप्लोमा होगी।

अकाली दल ने ऐलान किया कि वह पे-कमीशन की सिफारिशों को जैसी है, वैसी ही लागू करेगा। इनमें किसी तरह का बदलाव नहीं किया जाएगा।

सेवानिवृत्ति की उम्र 58 से 60 वर्ष करने की सिफारिश की गई है। शिक्षक, नर्स और कांस्टेबल से ऊपर के कर्मचारियों को अधिकतम पे स्केल मिलेगा। अगर कोई कर्मचारी इससे वंचित रहता है तो उसे अगला स्केल दिया जाएगा। उसका ग्रेड चेंज नही होगा।

इसके अलावा सभी क्षेत्रों के हाउस रेंट अलाउंस में पांच फीसदी बढ़ोतरी करते हुए सिटी कंपनसेटरी अलाउंस को खत्म करने की सिफारिश की गई है। ग्रामीण क्षेत्रों के भत्ते को पांच से बढ़ाकर छह फीसदी किया गया है। टीए और डीए की दरों में संशोधन किया गया है।

पूरी पेंशन के लिए 33 साल के सेवाकाल की शर्त पर नरमी दिखाते हुए 20 साल की सेवा के बाद लिए गए वेतन की औसतन 50 फीसदी राशि पेंशन के रूप में देने की सिफारिश की है। आयोग ने यह भी सिफारिश की कि भविष्य में सभी कर्मियों के वेतन में एक साथ तीन फीसदी बढ़ोतरी होगी।
(संदर्भ: सुखबीर सिंह बावजा, दैनिक भास्कर)

31 March, 2009

PSU कर्मचारियों को वेतन वृद्धि का तोहफा

सरकार ने सार्वजनिक क्षेत्र के लाखों कर्मचारियों को वेतन वृद्धि का तोहफा दिया है। इससे तेल क्षेत्र समेत अन्य सभी नवरत्न कंपनियों के कर्मचारियों को सबसे ज्यादा फायदा मिलने की उम्मीद है। प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल की 30 मार्च को यहां हुई एक बैठक में यह फैसला किया गया। इस फैसले से सरकारी कंपनियों के कर्मचारियों के सकल वेतन में पहले जो बढ़ोतरी करने का फैसला किया गया था, उससे कम से कम 28 फीसदी ज्यादा वृद्धि अब होगी। 

श्री चिदंबरम ने संवाददाता सम्मेलन में बताया कि इस फैसले से सरकारी उपक्रमों (PSU) के चार लाख कर्मचारियों को सीधे फायदा होगा। खास तौर पर लाभ अर्जित करने वाले उपक्रमों के कर्मचारियों को सबसे ज्यादा फायदा होगा। कर्मचारियों के मूल वेतन में वृद्धि के साथ ही उनके आवासीय भत्ते और पेंशन भुगतान में भी वृद्धि होगी। महंगाई भत्ते का 50 फीसदी हिस्सा मूल वेतन में जोड़ने के फैसले को पहली जनवरी, 2007 से लागू माना जाएगा। 

सेवानिवृत्ति के बाद के भुगतान को जोड़ने के लिए मूल वेतन और महंगाई भत्ते के योग की 30 फीसदी सीमा को आधार माना जाएगा। भत्ते वगैरह के भुगतान की अवधि 26 नवंबर, 2008 से लागू मानी जाएगी। 

सरकारी सूत्रों का कहना है कि अगर समस्त वृद्धि का योग निकाला जाए तो 100 रुपये के मूल वेतन में 28 रुपये प्रति महीने की वृद्धि होती है। मालूम हो कि सरकारी कर्मचारियों के वेतन में वृद्धि पर सुझाव देने के लिए सरकार ने पहले जगन्नाथ राव समिति बनाई थी। राव समिति की रिपोर्ट के बाद सरकार ने पीएसयू कर्मियों के वेतन में वृद्धि का फैसला किया था, लेकिन इस पर नवरत्न कंपनियों के कर्मचारी राजी नहीं थे। विरोध में तेल कंपनियों के अफसरों ने हड़ताल भी की। इसको देखते हुए चिंदबरम की अध्यक्षता में समिति बनाई गई। पेट्रोलियम व प्राकृतिक गैस मंत्रालय मुरली देवड़ा भी इसके सदस्य थे। कुछ हफ्ते पहले देवड़ा ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर यह आग्रह किया था कि मसले पर शीघ्रता से फैसला किया जाए।

30 March, 2009

सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों (PSU) में कर्मचारियों का वेतन बढ़ा

सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों (PSU) के करीब 4 लाख कर्मचारियों को सरकार ने एक बार फिर से सौगात दी है। सरकार ने सार्वजनिक क्षेत्र के करीब 4 लाख कर्मचारियों की सैलरी और भत्ते बढ़ाने का फैसला आज लिया। प्रधानमंत्री की अगुआई में 30 मार्च को हुई कैबिनेट मीटिंग में यह फैसला लिया गया। नए पे पैकेज में इन कर्मचारियों के हाउस रेंट अलाउअंस में भी बढ़ोतरी की गई है। साथ ही बेहतर रिटायरमेंट बेनिफिट भी दिया गया है। सरकार ने यह फैसला होम मिनिस्टर पी चिदंबरम की अगुआई में गठित मंत्रियों की समिति की सिफारिशों के आधार पर किया है।

कैबिनेट के फैसले की जानकारी देते हुए होम मिनिस्टर पी चिदंबरम ने बताया कि पे स्ट्रक्चर का रीविजन हर कंपनी के हिसाब से अलग-अलग होगा।

शेष जानकारियां अगली पोस्ट में

केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र में वेतन बढ़ोत्तरी को आज मंजूरी मिल जायेग़ी!

अगर सब कुछ ठीक रहा तो चुनाव के इस मौसम में भी केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों (Central Public Sector Enterprises) के अधिकारियों की बल्ले-बल्ले हो सकती है। अमूमन चुनाव के दौरान आचार संहिता के चलते सरकार कोई बड़ा फैसला लेने से बचती है पर इस बार उसने चुनाव आयोग से सीपीएसई के अधिकारियों का वेतन बढ़ाने की अनुमति ले ली है। वेतन में बढ़ोतरी को मंजूरी देते हुए चुनाव आयोग ने सरकार को सलाह दी है कि वह से इसे प्रचार का मुद्दा नहीं बनाए।

वेतन संशोधन समिति ने नवंबर,08 में इस बढ़ोतरी का सुझाव दिया था। गृह मंत्री पी. चिदंबरम की अध्यक्षता वाले मंत्रिसमूह (GoM) ने इस प्रस्ताव पर विचार करने के बाद समिति के सुझाव मानने के संकेत दिए हैं। कैबिनेट द्वारा इस प्रस्ताव पर 30 मार्च को विचार किए जाने की संभावना है। menari

24 March, 2009

अगले महीने भारतीय स्टेट बैंक में हड़ताल

सार्वजनिक क्षेत्र के भारतीय स्टेट बैंक के अफसर 8 और 9 अप्रैल को हड़ताल पर चले जाएंगे। देश के इस सबसे बड़े बैंक में अधिकारियों की भर्ती और वेतनमान में संशोधन की मांग को लेकर अफसरों ने अगले महीने यह कदम उठाने का फैसला किया है। अधिकारियों के संगठन ने पेंशन योजना को बेहतर बनाने की मांग भी रखी है। एसबीआई में फिलहाल 65 हजार अधिकारी हैं।

आल इंडिया स्टेट बैंक आफिसर्स फेडरेशन के अध्यक्ष टीएन. गोयल ने मीडिया को बताया कि देश भर में भारतीय स्टेट बैंक में 7 से 8 हजार अफसरों की कमी है। अगर इसमें नई शाखाओं की जरूरतों को भी जोड़ दिया जाए तो यह आंकड़ा 10 हजार के पार चला जाएगा। बैंक की चौथाई शाखाओं में केवल एक अधिकारी तैनात है, जबकि कोर बैंकिंग सोल्यूशन (सीबीएस) वाली शाखाओं में कम से कम 2 अधिकारी होने चाहिए।



23 March, 2009

चुनाव आयोग ने छत्तीसगढ़ के कर्मचारियों को छठा वेतनमान की हरी झंडी दी

चुनाव आयोग ने छत्तीसगढ़ राज्य के कर्मचारियों को छठा वेतनमान देने के राज्य सरकार के प्रस्ताव को हरी झंडी दे दी है। इसके साथ ही राज्य के दो लाख कर्मचारियों को अप्रैल का वेतन छठे वेतनमान की अनुशंसाओं के मुताबिक मिलेगा। सहायक मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी अरविंद दीक्षित ने मीडिया को बताया हैकि राज्य सरकार ने अपने कर्मचारियों को 1 जनवरी 2006 से छठे वेतनमान की अनुशंसाएँ लागू करने के संबंध में आयोग से अनुमति माँगी थी। इस पर मुहर लगाते हुए आयोग ने कहा है कि राज्य शासन के प्रस्ताव पर कोई आपत्ति नहीं है।menari

राज्य सरकार ने 1 जनवरी 2006 से 31 अगस्त 2008 तक की बकाया राशि तीन किस्तों में तथा 1 सितंबर 2008 से वेतन के साथ नगद भुगतान का निर्णय लिया था। आचार संहिता लागू होने से पहले 2 मार्च को मंत्रिमंडल ने भी इस संबंध में निर्णय लिया था। वहीं, छठा वेतनमान लागू करने के लिए कर्मचारी संगठन राज्य सरकार और चुनाव आयोग पर दबाव बनाए हुए थे। आदेश जारी नहीं होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी भी दी गई थी। आयोग की अनुमति मिलने के बाद बेमुद्दत हड़ताल की चेतावनी को वापस ले लिया गया है।

21 March, 2009

चुनावी ड्यूटी में मारे जाने पर दस लाख

चुनाव आयोग ने फैसला किया है कि अगर कोई अधिकारी चुनावी ड्यूटी के दौरान आतंकवादी हमले या असमाजिक तत्वों के हाथों मारा जाता है तो उन्हें मुआवजा के तौर पर दस लाख रूपया दिया जायेगा।

चुनाव आयोग ने ड्यूटी के दौरान किसी अप्रिय घटना में किसी अधिकारी के मारे जाने पर उसके नजदीक के रिश्तेदार को मुआवजा के तौर पर कम से कम राशि के रूप में पांच लाख रूपये दिए जाने का प्रस्ताव रखा है।

आयोग के एक अधिकारी ने कहा हालांकि यदि मृत्यु आतंकी हमले बारूदी सुरंग के फटने से बम विस्फोट में हथियारबंद लोगों के हमले में या असमाजिक तत्वों के हाथों होती है तो मुआवजा के तौर पर दस लाख रूपये दिए जायेंगे।

इस अधिकारी के मुताबिक स्थाई रूप से पंगु हो जाने आंखों की रोशनी चले जाने आदि मामलों में मुआवजा के तौर पर ढाई लाख रूपये दिए जायेंगे। लेकिन यदि इस तरह की स्थिति आतंकी हमले में हो जाती है तो मुआवजा के तौर पर पांच लाख रूपये दिए जायेंगे।

20 March, 2009

आचार संहिता की वजह से बहुचर्चित पेंशन स्कीम टली

सरकार ने आम चुनावों के मद्देनजर चुनाव आचार संहिता का हवाला देते हुए एक अप्रैल से शुरू की जाने वाली बहुचर्चित पेंशन स्कीम को टाल दिया है। आधिकारिक बयान के अनुसार आदर्श आचार संहिता के मद्देनजर पेंशन फंड रेगुलेटरी एंड डेवलपमेंट अथोरिटी (पीएफआरडीए) के लिये योजना संबंधी कार्यों को पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार आगे बढ़ाना फिलहाल संभव नहीं है। बयान के मुताबिक इसीलिए नयी पेंशन प्रणाली को लांच किये जाने की तारीख टाले जाने का फैसला किया गया है। 

उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार ने अपने उन कर्मचारियों के लिये नयी पेंशन व्यवस्था (एनपीएस) पहले ही लागू कर दी है जिन्होंने एक जनवरी 2004 या उसके बाद ज्वाइन किया है। अगस्त 2008 में सरकार ने पीएफआरडीए को सभी नागरिकों के लिये एनपीएस शुरू किये जाने का सुझाव दिया था।

04 March, 2009

HEC को मिले 80 करोड़ से रिटायर हुये कर्मियों को एरियर देने की तैय्यारी

नगर विकास विभाग ने 12वें वित्त आयोग की अनुशंसा के अनुसार HEC को मकान और जमीन के मद में 80 करोड़ रुपये जारी कर दिये है। उद्योग विभाग ने 2007 में HEC के पुनर्वास पैकेज की स्वीकृति दी थी। 20 फरवरी 09 को सलाहकार परिषद ने इससे मंजूरी दे दी है। यह राशि HEC से प्राप्त भवनों एवं उससे जुड़ी जमीनों के मद में दी गयी है। 

खबरों के अनुसार, HEC प्रबंधन ने रिटायर कर्मियों के एरियर भुगतान को लेकर तैयारी शुरू कर दी है। अनुपूरक बजट में भी इसका प्रावधान किया गया था।  इस संबंध में शीघ्र ही प्रबंधन आदेश जारी करेगा। HEC के 12 हजार रिटायरकर्मियों के एरियर पर 35 करोड़ रुपये खर्च होंगे। इन कर्मचारियों का वर्ष 1992-96 का एरियर बकाया है। 

इधर HEC के रिटायर कर्मियों के संघों ने एरियर के सवाल पर कार्मिक निदेशक एवं सीएमडी से मुलाकात की। अधिकारियों ने होली पूर्व एरियर भुगतान की संभावना व्यक्त की। उधर एचइसी सेवानिवृत्त कर्मचारी कल्याण संघर्ष मोरचा ने चार मार्च को धुर्वा मोंटेसरी मैदान में बैठक बुलायी है। तीन बजे से होनेवाली बैठक में एरियर पर जानकारी दी जायेगी।

03 March, 2009

छत्तीसगढ़ के सरकारी कर्मचारियों को केंद्रीय वेतनमान

छत्तीसगढ़ सरकार ने प्रदेश के दो लाख सरकारी कर्मचारियों को केंद्रीय वेतनमान देने का फैसला किया है। इससे कर्मचारियों की तनख्वाह औसतन 20 फीसदी बढ़ जाएगी। बढ़ा हुआ वेतन पहली अप्रैल से मिलने लगेगा। छठे वेतन आयोग की सिफारिशें लागू करने का फैसला 2 मार्च की सुबह हुई मंत्रिमंडल की बैठक में किया गया। बैठक के चार घंटे बाद लोकसभा चुनाव की घोषणा हो गई और देशभर में आचार संहिता लागू हो गई। 

वैसे कर्मचारियों को वेतन की 20 फीसदी राशि अंतरिम राहत के रूप में सितम्बर 2008 से मिल रही है। नियमित सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए केंद्रीय वेतन आयोग की सिफारिशें एक जनवरी 2006 से लागू होंगी। इसका नकद भुगतान एक सितम्बर 2008 से किया जाएगा। एक जनवरी 2006 से 31 अगस्त 2008 तक के एरियर्स का भुगतान तीन किस्तों में किया जाएगा। यह राशि 30, 30 व 40 फीसदी की किस्तों में होगी। वहीं एक सितम्बर 2008 से 31 मार्च 2009 अवधि के एरियर्स का भुगतान वित्तीय वर्ष 2009-10 में किया जाएगा। 

27 February, 2009

मध्य प्रदेश के सरकारी कर्मचारियों को केंद्र के समान वेतनमान अप्रैल से?

मध्य प्रदेश के सरकारी कर्मचारियों की पगार अब केंद्र के समान होने जा रही है। राज्य के करीब 4.75 लाख कर्मचारियों को केंद्र द्वारा मान्य छठे वेतन बोर्ड की रिपोर्ट के अनुसार वेतनमान देना तय हो चुका है। यह तोहफा प्रदेश के कर्मचारियों को 1 जनवरी 2006 से लागू माना जाएगा। इस संबंध में इसी हफ्ते आदेश जारी होने की सम्भावना है। सरकार एक सितम्बर 2008 से फरवरी 2009 के बीच के एरियर का नकद भुगतान करेगी। अपुष्ट जानकारी के अनुसार मध्य प्रदेश वित्त विभाग ने कर्मचारियों के वेतन संबंधी फाइल मुख्यमंत्री के लिए दस्तखत के लिए भेज दी है। नए वेतनमान अप्रैल से लागू हो सकता है।

छठे वेतनमान का लाभ देने पर सरकार पर अब ज्यादा बोझ नहीं आएगा। 20 फीसदी राशि एक सितम्बर 2008 से दी जा रही है, जबकि वेतनमान का पूरा लाभ देने पर उस पर करीब 25 प्रतिशत का बोझ आ रहा है। अंतरिम राहत का बीस प्रतिशत पहले से देने के कारण अब उस पर अधिकतम पांच प्रतिशत का ही बोझ आयेगा।

केंद्रीय कर्मचारियों का DA 6 फीसदी बढ़ा

लोकसभा चुनाव से पहले केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 26 फरवरी को, केंद्र सरकार के कर्मचारियों और पेंशनधारियों के महंगाई भत्ते (DA) में छह फीसदी की बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी। केंद्र के इस फैसले से केंद्रीय खजाने पर 6,020 करोड़ रुपये का अतिरिक्त बोझ पड़ेगा। प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की अनुपस्थिति में विदेश मंत्री प्रणब मुखर्जी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत गृह मंत्री पी चिदंबरम ने इस संबंध में जानकारी देते हुए कहा कि महंगाई भत्ते (DA) में की गई वृद्धि एक जनवरी 2009 से प्रभावी होगी। इसका भुगतान एक मार्च से किया जाएगा।

चिदंबरम के मुताबिक अगले वित्त वर्ष 2009-10 में 5149 करोड़ रुपये और जनवरी से लेकर कुल 15 महीनों के लिए 6020 करोड़ रुपये का बोझ आएगा। देश में करीब 40 लाख केंद्रीय कर्मचारी और 30 लाख पेंशनधारी हैं।

25 February, 2009

टाटा ने 90 फीसदी कर्मियों वापस लिये

केवल तीन माह में रिकार्ड पांच बंदियों का सामना कर चुकी देश की सबसे बड़ी व्यवसायिक वाहन निर्माता कंपनी टाटा मोटर्स ने आर्डर की स्थिति में सुधार के कारण पिछले मात्र तीन हफ्तों में ही अपने जमशेदपुर संयंत्र के 90 फीसदी से अधिक छंटनीग्रस्त अस्थाई कामगारों को काम पर वापस बुला लिया है। संयंत्र के कुल 2400 अस्थाई कर्मियों में से अब मात्र डेढ़ से दो सौ ही बाहर हैं और उनकी भी जल्द ही वापसी हो सकती है। 

ट्रक, डंपर [ट्रिप्पर], ट्रेलर और अन्य मल्टी एक्सेल वाहनों का उत्पादन करने वाले इस संयंत्र में पांचवी बंदी के बाद दो फरवरी को दोबारा उत्पादन शुरू होने के साथ ही अस्थाई कामगारों की क्रमिक वापसी शुरू हो गई थी। सहयोगी कंपनी एचवी एक्सेल और एचवी ट्रांसमिशन के लगभग 900 छंटनीग्रस्त अस्थाई कामगारों में से भी एक तिहाई से अधिक की वापसी हो चुकी है।

ज्ञातव्य है कि उत्पादन के मार्च 2008 में प्रतिदिन 450 इकाई से गिर कर हाल में लगभग 100 इकाई प्रतिदिन से भी नीचे चले जाने के कारण संयंत्र को नवंबर और दिसंबर माह में दो-दो बार तथा जनवरी में एक बार बंद किया जा चुका है। मंदी जनित ऋण संकट के चलते मांग में आई गिरावट का हवाला देते हुए पिछले कुछ माह में संयंत्र के सभी अस्थाई कर्मियों को चरणबद्ध तरीके से काम से हटा दिया गया था।

24 February, 2009

कर्मचारी पेंशन स्कीम में सरकारी योगदान बढ़ाने की सिफारिश नामंजूर

कर्मचारी पेंशन योजना (ईपीएस) 1995 में सरकार के योगदान बढ़ाने के एक प्रमुख संसदीय समिति की सिफारिश को सरकार ने नामंजूर कर दिया है। समिति ने सुझाव दिया था कि सरकारी योगदान में भारी बढ़त कर इसे कम से कम नियोक्ता के योगदान के आधा तक किया जाए।

ईपीएस 1995 ऐसी योजना है, जिसमें कर्मचारियों और नियोक्ता को योगदान करना पड़ता है। फिलहाल सेवानिवृत्ति के लिए बचत करने की जो व्यवस्था है, उसमें गैर-सरकारी क्षेत्र के कर्मचारियों को अपने वेतन का 12 फीसदी हिस्सा कर्मचारी भविष्य निधि (ईपीएफ) में जमा करना पड़ता है। फंड में इसके बराबर राशि ही नियोक्ता भी जमा करता है। हालांकि नियोक्ता की यह 12 फीसदी राशि दो हिस्सों में विभाजित होती है। इस राशि में से 8.33 फीसदी हिस्सा कर्मचारी पेंशन योजना (अधिकतम 540 रुपए प्रति माह) और शेष राशि ईपीएफ में चली जाती है। ईपीएस के तहत सदस्य यानी कर्मचारी से कोई योगदान नहीं लिया जाता। सरकार कर्मचारी के पेंशन फंड में 1.16 फीसदी राशि देती है।

इकोनोमिक टाइम्स में आयी ख़बर कहती है कि श्रम मामलों पर गठित संसद की स्थायी समिति ने इस बात पर गौर किया कि पिछले 14 साल से पेंशन योजना में न तो नियोक्ता का योगदान बढ़ रहा है, न ही सरकार का। अपनी 39वीं रिपोर्ट में समिति ने साफ तौर पर यह सुझाव दिया है कि योगदान के फॉर्मूले में समय-समय पर संशोधन होना चाहिए और सरकार का योगदान नियोक्ता का कम से कम आधा तो होना ही चाहिए। रिपोर्ट में कहा गया है कि जब यह जानने का प्रयास किया गया कि ईपीएस में योगदान के मामले में सरकार संशोधन करने में विफल क्यों रही तो मंत्रालय के अधिकारियों का कहना था कि सरकारी योगदान बढ़ाने फिलहाल उन्हें कोई प्रस्ताव नहीं मिला है। इसकी जगह मंत्रालय का तर्क था कि प्रतिशत योगदान में संशोधन होने के बावजूद पेंशन योजना में सरकार का योगदान बढ़ रहा है।

ईपीएस 1995 पर विपरीत असर पड़ने की संभावना से ही सरकार ने ईपीएफ योजना के तहत कवर होने वाले वेतन की सीमा 6,500 रुपए में कोई संशोधन नहीं किया है। रिपोर्ट में कहा गया है, 'ईपीएफ के वेतन की सीमा बढ़ाने से ईपीएस योजना पर गहरा असर पड़ सकता है। इस तरह जब तक पेंशन योजना के प्रभाव को पूरी तरह से संभाला नहीं जा सकता, वेतन सीमा बढ़ाना उपयुक्त नहीं होगा।' अपने जवाब में सरकार ने कहा है, 'जून, 2001 से पेंशन पात्रता वेतन सीमा 5,000 रुपए से बढ़ाकर 6,500 रुपए करके सरकार ने पहले ही अपनी देनदारी करीब 10,000 करोड़ रुपए बढ़ा दी है और जब भी फिर उपयुक्त परिस्थिति आएगी वेतन की सीमा और बढ़ाई जा सकती है।'

कर्मचारी भविष्य निधि अधिनियम 1952 के तीन सबऑर्डिनेट कानूनों में से एक ईपीएस भी है जो 16 नवंबर 1995 से लागू हुआ है। मंत्रालय के एक दूसरे संगठन कर्मचारी राज्य बीमा निगम (ईएसआईसी) ने कर्मचारियों के बदलते स्तर को स्वीकारते हुए अपनी योजना के कवरेज की वेतन सीमा बढ़ाकर 10,000 रुपए कर दी है, लेकिन ईपीएफओ ने अभी तक ऐसा नहीं किया है।
(समाचार अंश: इकोनोमिक टाइम्स से साभार)

23 February, 2009

ईपीएफ ब्याज दर 8.5 फीसदी पर यथावत

ईपीएफ पर ज्यादा ब्याज की उम्मीद कर रहे कर्मचारियों को इस खबर से निश्चित तौर पर झटका लगेगा। कर्मचारी भविष्य निधि (ईपीएफ) के केंद्रीय न्यासी बोर्ड ने ब्याज दर में कोई बदलाव नहीं किया है। केंद्रीय न्यासी बोर्ड (सीबीटी) ने वर्ष 2008-09 के लिए ईपीएफ पर ब्याज दर 8.5 फीसदी ही रखने की सिफारिश की है। पिछले साल भी कर्मचारी भविष्य निधि पर 8.5 प्रतिशत ब्याज दिया गया था। वर्ष 2005-06 में 9.5 प्रतिशत ब्याज दिया था।

सरकार भविष्य निधि पर ब्याज दर की घोषणा आम तौर पर दिसंबर के अंत तक कर देती है, लेकिन कर्मचारी संगठनों के विरोध के कारण निर्णय लेने में देरी हुई। कर्मचारी संगठनों ने ब्याज दर 9.5 प्रतिशत करने की मांग की थी। बैठक में श्रमिक संगठनों ने श्रम मंत्री के इस फैसले का विरोध किया, पर ऑस्कर ने आर्थिक सुस्ती का हवाला देते हुए कहा कि फिलहाल सरकार पर ज्यादा बोझ न डाला जाए।

17 February, 2009

आज स्टेट बैंक के सहयोगी बैंकों में हड़ताल

भारतीय स्टेट बैंक के 6 सहयोगी बैंकों के ग्राहक आज परेशानी उठाने के लिए तैयार रहें। इस दिन देश भर में इन बैंकों के 60 हजार तृतीय व चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी हड़ताल पर रहेंगे। उन्होंने स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के कर्मियों के बराबर लाभ नहीं मिलने व सहयोगी बैंकों पर विलय की तलवार लटकाए रखने के खिलाफ यह फैसला किया है। State Bank of India के सहयोगी बैंकों में स्टेट बैंक आफ पटियाला, स्टेट बैंक आफ बीकानेर व जयपुर, स्टेट बैंक आफ हैदराबाद, स्टेट बैंक आफ त्रावणकोर, स्टेट बैंक आफ मैसूर तथा स्टेट बैंक आफ इंदौर शामिल हैं। एक सहयोगी बैंक स्टेट बैंक आफ सौराष्ट्र का पिछले साल SBI में विलय किया जा चुका है।

State Sector Bank Employees Association  के महासचिव नरेश गौर के अनुसार स्टेट बैंक प्रबंधन के साथ वार्ता विफल होने के बाद हड़ताल का आह्वान किया गया है। All India State Bank of Indore Officers Co-ordination Commitee के सदस्य अलोक खरे के अनुसार कर्ज व ब्याज संबंधी लाभों में भेदभाव के खिलाफ कर्मचारी हड़ताल पर जा रहे हैं।



16 February, 2009

कोयला कर्मचारियों के वेतन समझौते पर रोक लगाने की माँग

कोयला उद्योग कामगार संघर्ष समन्वय समिति के संरक्षक पीओ जोश ने सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस से कामगारों के जेबीसीसीआइ-8 पर रोक लगाने की मांग की है। उनका कहना है कि कोल इंडिया में चुनाव होना चाहिए। कामगारों द्वारा चुनकर आने वाले को ही समझौता करने का अधिकार मिलना चाहिए। उन्होंने गत 24 जनवरी को हुए समझौते को गैर संवैधानिक एवं गलत करार दिया। लिखे पत्र के साथ प्रमाण के तौर पर कई दस्तावेज भी दिये हैं। जोश ने लिखा है कि कोल इंडिया ने किसी भी श्रमिक संगठन को मान्यता नहीं दी है। यहां लोकतांत्रिक तौर पर यूनियनों का कभी चुनाव नहीं हुआ। ऐसे में गलत लोगों द्वारा यह समझौता किया गया है। यह समझौता कामगारों की भावना के अनुरूप भी नहीं है। सवा चार लाख में करीब साढ़े तीन लाख कामगार दस साल का समझौता चाहते हैं।

उन्होंने चेयरमैन को भी हस्ताक्षरयुक्त पत्र भेजा है। उनके द्वारा पूर्व में किये गये कई समझौते लागू ही नहीं हो पाये हैं। प्रबंधन के साथ मिलकर मन मुताबिक समझौता करते हैं। ऐसे में इसकी कोई अहमियत नहीं है। जेबीसीसीआइ का गठन सरकार करती है। इसके बाद भी पूरी बैठक में कोई सरकारी अधिकारी मौजूद नहीं होता। समझौता के वक्त सिर्फ औपचारिकता निभाने के लिए वह आ जाते हैं। 

हरियाणा श्रम कल्याण बोर्ड की बैठक के फैसले

हरियाणा में श्रम कल्याण बोर्ड,  श्रमिकों को मकान खरीदने व मकान निर्माण के लिए एक लाख रुपए तक का ब्याज मुक्त कर्ज उपलब्ध करवाएगा। कर्ज की यह राशि 100 किस्तों में वसूल की जाएगी। इसके साथ ही श्रमिकों को दो बेटियों की शादी के लिए अब 10 हजार रुपए के बजाय 21 हजार रुपए की राशि प्रदान की जाएगी। श्रम व रोजगार मंत्री ए.सी. चौधरी की अध्यक्षता में हुई श्रम कल्याण बोर्ड की बैठक में यह फैसले लिए गए। मृतक श्रमिकों की विधवाओं को दी जाने वाली अनुदान की राशि 20 हजार रुपए से बढ़ा कर 50 हजार रुपए कर दी गई है। विकलांग श्रमिकों को वित्तीय सहायता की राशि 10 हजार से बढ़ा कर 15 हजार कर दी गई है। इसके साथ ही श्रमिकों को साइकिल खरीदने के लिए एक हजार रुपए की राशि देने का भी निर्णय लिया गया है।

श्रमिक महिलाओं को 5 हजार रुपए मातृत्व लाभ के तौर पर दिए जाएंगे। श्रमिक की मृत्यु पर 500 रुपए की अंत्येष्टि सहायता भी दी जाएगी। साकेत अस्पताल से दंत चिकित्सा, कृत्रिम अंगों व तिपहिया साइकिलों की खरीद के लिए 1200 रुपए की मदद दी जाएगी। श्रमिकों के बच्चों को हारट्रोन से मान्यता प्राप्त संस्थान से कम्प्यूटर का प्रशिक्षण हासिल करने के लिए 2 से 9 हजार रुपए तक की वित्तीय सहायता दी जाएगी। पांचवीं से आठवीं कक्षा तक पढ़ने वाली तीन लड़कियों तक स्कूल वर्दी, किताब व कापियों की खरीद के लिए हरेक को दो-दो हजार की मदद मिलेगी। आठवीं से पोस्ट ग्रेजुएट तक हर साल दो हजार से ले कर 12 हजार रुपए तक का वजीफा देने का भी फैसला किया गया है।

11 February, 2009

रिजर्व बैंक के कर्मचारी 20 फरवरी को देश भर में एक दिन की हड़ताल पर

नई पेंशन योजना को बहाल करने समेत अपनी तमाम मांगों को लेकर रिजर्व बैंक के कर्मचारी 20 फरवरी को देश भर में एक दिन की हड़ताल पर करेंगे। सीजीएम से लेकर चौथे दर्जे के कर्मचारियों के काम न करने से इस दिन केंद्रीय बैंक द्वारा किए जाने वाले भुगतानों पर असर पड़ेगा।

अखिल भारतीय रिजर्व बैंक कर्मचारी संघ के सचिव के के शर्मा ने इस हड़ताल की मुख्य वजह वित्ता मंत्रालय की ओर से केंद्रीय बैंक द्वारा जारी एक आंतरिक सर्कुलर को बताया है। इसमें नवंबर 1997 से पूर्व सेवानिवृत्ति पाने वालों से नई पेंशन योजना को वापस लेने की बात कही गई है। सर्कुलर में आरबीआई के रिटायर हो चुके कर्मचारियों की पेंशन में भारी कमी की घोषणा की गई है। पिछले साल अक्टूबर में भी केंद्रीय बैंक के कर्मचारियों ने इसी मुद्दे पर देशव्यापी हड़ताल की थी।

10 February, 2009

बिहार में कर्मचारियों की हड़ताल खत्म

बिहार में सरकारी कर्मचारियों की पिछले 34 दिनों से चल रही हड़ताल समाप्त हो गई है। सरकारी सूत्रों ने 9 फरवरी को यह जानकारी दी।

फिलहाल अभी यह नहीं पता चल पाया है कि सरकार व कर्मचारियों के बीच क्या फैसला हुआ, जिस आधार पर हड़ताल समाप्त करने की घोषणा की गई है।

29 January, 2009

SAIL कर्मचारियों को एक हजार किलो सोना उपहार में

Steel Authority of India अपने कर्मचारियों को एक हजार किलो सोना उपहार में देगी। इसकी कीमत 145 करोड़ रुपये होगी। SAIL तीन फरवरी को 50वीं वर्षगांठ मना रही है और उसने 1040 किलो वजन के सोने के सिक्के बनाने का आर्डर किया है जो वह अपने एक लाख 30 हजार कर्मचारियों को देगी। हर सिक्का आठ ग्राम वजन का होगा और इसकी कीमत 11 हजार रुपये होगी। देश में सबसे अधिक इस्पात बनाने वाली कंपनी यह आर्डर संभवत: SBI के जरिए दे रही है।

इस्पात मंत्री राम विलास पासवान संभवत: सेल कर्मचारियों के लिए यह शुभ समाचार तीन फरवरी को सार्वजनिक करेंगे जब कंपनी अपनी स्वर्ण जयंती मनाएगी।

20 January, 2009

अब IIT, IIM शिक्षक होंगे मालामाल

पांच लाख कालेज शिक्षकों को वेतन में भारी वृद्धि के बाद अब देश के हाई प्रोफाइल शैक्षिक संस्थान माने जाने वाले भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थानों (IIT) और भारतीय प्रबंधन संस्थानों (IIM) के शिक्षकों के वेतन में बढ़ोतरी की जा रही है। इन संस्थानों के शिक्षकों के वेतन की समीक्षा के लिए गठित समिति इस महीने के अंत में अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंप देगी।

बैंगलूरु स्थित इंडियन इंस्टीच्यूट ऑफ साइंस (IIS) के पूर्व प्रोफेसर गोवर्धन मेहता की अध्यक्षा में एक समिति गठित कर सरकार ने आईआईटी और आईआईएम के शिक्षकों के वेतन व सुविधाओं की समीक्षा करने का काम सौंपा थी। समिति ने शिक्षकों के चार स्तरीय शिक्षण व्यवस्था में बदलाव से परहेज करने का फैसला किया है। हिन्दुस्तान टाइम्स में राजीव रंजन की रिपोर्ट है के अनुसार प्रोफेसर मेहता ने बताया कि शिक्षकों के मौजूदा फोर टायर व्यवस्था को बनाये रखेने में कोई हर्ज नहीं है। लिहाजा लेक्चरर ,असिस्टेंट प्रोफेसर , एसोसियेट प्रोफेसर और प्रोफेसर जैसे पद यथावत बने रहेंगे। चड्डा समिति ने अपनी सिफारिशों में कालेजों में  लेक्चरर का पद खत्म कर उसे असिस्टेंट प्रोफेसर का नया नाम दिया था।

06 January, 2009

बैंक कर्मी,अफसर हड़ताल पर जाएंगे

ऑल इंडिया बैंक इम्प्लाइज एसोसिएशन के महासचिव सी.एच. वेंकटाचलम् ने कहा है कि यदि सरकार उनकी मांगों को नहीं मानती है तो मार्च में बैंक के अधिकारी एवं कर्मचारी हड़ताल पर चलें जाएंगे। उन्होंने कहा कि सरकार को मार्च तक समय दिया गया है। अगर सरकार अपनी आर्थिक नीतियों को नहीं बदलती है तो हड़ताल से लेकर सभी प्रकार के आंदोलन के लिए बैंककर्मी तैयार हैं।

05 January, 2009

कोयला कर्मचारियों की मौजाँ ही मौजाँ

कोयला कर्मचारियों का न्यूनतम वेतन अब 9345 रुपए होगा, पहले यह 5500 रुपए था। नया साल उनके लिए 24 प्रतिशत वेतन वृद्धि की सौगात लेकर आया है। लगभग दोगुने की वृद्धि हो गई है। पुराने कर्मियों को इसका और अधिक लाभ मिलेगा। जिसका जितना वेतन है उसमें 24 प्रतिशत की वृद्धि हो जाएगी। वेतन में मूल वेतन, व्हीडीए, एसडीए अटेंडेस बोनस की राशि शामिल रहती है। इसे जोड़कर जो ग्रॉस आएगा, उसमें 24 प्रतिशत की वृद्धि की जाएगी।

यह ऐतिहासिक निर्णय हैदराबाद में कोल इंडिया चेयरमेन पार्थो भट्टाचार्य व जेबीसीसीआई में शामिल पांचों श्रमिक संगठनों के पदाधिकारियों के बीच बनी सहमति पर हुआ। इस निर्णय के बाद श्रमिक संगठनों ने 5 जनवरी से प्रस्तावित हड़ताल वापस ले ली है। कोयला कर्मचारियों के वेतन समझौते की अवधि को लेकर खड़ा हुआ विवाद दूर होते ही प्रबंधन व श्रमिक संगठनों ने वेतन वृद्धि पर निर्णय लिया। पूर्व में वेतन समझौता पांच तथा दस वर्ष की अवधि के लिए किए जाने पर मत भिन्नता थी। जेबीसीसीआई में शामिल श्रमिक संगठन एटक, सीटू, इंटक, बीएमएस व एचएमएस के पदाधिकारियों में वेतन समझौता पांच वर्ष किए जाने का निर्णय लिया।

हैदराबाद में वेतन निर्धारण के लिए 2 जनवरी से तीन दिवसीय बैठक शुरू हुई। 2 जनवरी के पहले दिन आम सहमति नहीं बनी। 3 जनवरी को वेतन निर्धारण पर ही चर्चा केंद्रित रही। जिसका परिणाम यह सामने आया कि 30 जून 2006 को जिस कर्मचारी की जितनी तनख्वाह थी, उसमें 24 प्रतिशत की बढ़ोतरी की गई है। नए कर्मचारियों का न्यूनतम वेज 9344-64 रुपए निर्धारित किया गया है। पहले होता यह था कि नए पुराने कर्मियों को वृद्धि का एक साथ लाभ मिलता था, दोनों में कोई अंतर नहीं रह जाता था। इस बार दोनों के लिए अलग-अलग व्यवस्था लागू हो जाएगी।

कर्मचारियों का आठवां वेतन समझौता 30 जून 2006 से लंबित है। अभी सुविधाएं सातवें के अनुरूप मिल रही है। आठवें के लिए 15 प्रतिशत अंतिम राहत दी जा रही है। कोल इंडिया में कर्मचारियों की संख्या 4 लाख है जिसमें से एसईसीएल सिरमौर कंपनी है। उसके 83 हजार कर्मचारी इस वेतन समझौते से लाभान्वित होंगे।

02 January, 2009

सशस्त्र सेनाओं के लिए अलग वेतन आयोग का गठन किया जाएगा

सशस्त्र सेनाओं के लिए एक अलग वेतन आयोग का गठन किया जाएगा। इसके साथ ही सरकार पांच साल बाद अन्य सरकारी कर्मचारियों के वेतन के निरीक्षण लिए गठित किए जाने वाले आयोग से रक्षा कर्मियों के वेतन की समीक्षा को अलग करने पर सहमत हो गई है। बहरहाल इस संबंध में औपचारिक अधिसूचना अभी भी जारी नहीं हुई है।

थलसेना के लेफ्टिनेंट कर्नल और उसके समकक्ष नौसेना तथा वायुसेना के अधिकारियों के वेतन बढ़ाने की सूचना के साथ ही प्रधानमंत्री कार्यालय ने अलग वेतन आयोग के गठन के निर्णय से अवगत कराने के लिए कैबिनेट सचिव को पत्र भेजा है। सरकार इस पर भी सहमत हो गई है कि पिछले साल छठे वेतन आयोग द्वारा सुझाए गए वेतनमान से एक पायदान ऊपर के वेतनमान (37,400-67,000) में लेफ्टिनेंट कर्नलों को शामिल किया जाएगा। प्रतिनियुक्ति पर तैनात लेफ्टिनेंट कर्नल को अपनी मूल सेवा में लौटने पर यह वेतनमान दिया जाएगा। 

सशस्त्र सेनाओं, अर्ध्दसैनिक बलों और अन्य सरकारी कर्मचारियों से जुड़े मामलों के लिए एक उच्च स्तरीय समिति का गठन भी किया जाएगा। 

विश्वविद्यालयों के शिक्षकों के वेतन में भारी उछाल

विश्वविद्यालयों के शिक्षकों को नए साल में बढ़ी तनख्वाह का भारी भरकम उपहार मिला है। रीडर की तनख्वाह जबरदस्त उछाल के साथ 75 हजार रुपये के पार हो गई है, जबकि प्रारंभिक स्तर पर विश्वविद्यालय के शिक्षकों को एक IAS से भी ज्यादा वेतन मिलेगा। एक अनुमान के मुताबिक शिक्षकों की तनख्वाह में 14 से लेकर 33 हजार रुपये प्रतिमाह तक का इजाफा हुआ है। केंद्र सरकार ने विश्वविद्यालयों के शिक्षकों के लिए नए वेतनमान से संबंधित अधिसूचना जारी कर दी है और शिक्षक फरवरी में नए वेतनमान की उम्मीद कर रहे हैं।

अब विश्वविद्यालयों और कॉलिजों में पदों को नया नाम देकर इनकी संख्या तीन तक सीमित कर दी गई है। लेक्चरर को असिस्टेंट प्रोफ़ेसर और रीडर को असोसिएट प्रोफेसर के नाम से जाना जाएगा जबकि तीसरा पद प्रोफेसर का ही होगा। सबसे अधिक फायदा रीडर को हुआ है। 

1-1-2006 को रीडर के रूप में या रीडर ग्रेड में तीन साल पूरे करने वाले शिक्षक अपने आप ही असोसिएट प्रोफ़ेसर बन जाएंगे। नवभारत टाइम्स में भूपेंद्र की रिपोर्ट है कि उन्हें 37,400-67,000 (ग्रेड पे 9,000 के साथ) का वेतनमान मिलेगा। एक अनुमान के मुताबिक तीन साल रीडर के रूप में कार्य करने वाले पीएचडी धारक शिक्षक को 76 हजार रुपये के आसपास मिलेंगे, जबकि अभी तक उन्हें 42 से 44 हजार रुपये तक मिलते थे। विश्वविद्यालयों में प्रारंभिक स्तर पर  15,600-39,100 (ग्रेड पे 6,000 के साथ) मिलेंगे और यह राशि 42 हजार के आसपास होगी। जबकि पहले प्रारंभिक स्तर पर लगभग 28,000 रुपये मिलते थे। प्रारंभिक स्तर पर आईएएस के लिए निर्धारित वेतनमान 15,600-39,100 (5400 ग्रेड पे के साथ) है, जो इस स्तर पर शिक्षक से कम है।

कॉलिजों में प्रोफेसरशिप की लंबी मांग अब पूरी हो गई है। हालांकि प्रोफेसर खुश नहीं है क्योंकि उनको भी रीडर का पे बैंड दिया गया है। फर्क इतना ही प्रोफेसर का ग्रेड पे 9,000 की जगह 10,000 कर दिया गया है। इसके अलावा 10 साल की नौकरी के बाद कुछ प्रोफेसरों को 12,000 रुपये ग्रेड पे देने की बात कही गई है।  

टाटा पावर ने कर्मचारियों का वेतन बढ़ाने का फैसला किया

विद्युत क्षेत्र से जुड़ी टाटा समूह की अग्रणी कम्पनी टाटा पावर ने अपनी जमशेदपुर इकाई के कर्मचारियों को एक तरह से नए साल का तोहफा देते हुए आगामी एक जनवरी से उनका वेतन बढ़ाने का फैसला किया है। प्रबंधन के शीर्ष अधिकारियों तथा श्रमिक यूनियन के बीच हुए तीसरे वेतन पुनरीक्षण समझौते से कर्मियों के कुल वेतन में एक जनवरी 2009 से 2,800 रुपए से लेकर 6,982 रुपए तक वृद्धि हो जाएगी। यह समझौता चार साल तक प्रभावी रहेगा।

इसके तहत एलटीसी तथा चिकित्सा भत्ता समेत कई अन्य भत्तों में भी वृद्धि कर दी गई है। कम्पनी ने ड्यूटी के दौरान मृत्यु हो जाने पर कर्मियों को दिए जाने वाले मुआवजे की राशि को भी आठ लाख रुपए से बढ़ाकर दोगुना यानी 16 लाख रुपया कर दिया है।  मंदी के दौर में वेतन की बढ़ोतरी करने वाली टाटा समूह की यह दूसरी कम्पनी है। इससे पहले टाटा स्टील ने अपने कर्मियों के वेतन में वृद्धि की घोषणा की थी। 

01 January, 2009

अफसरों को पद मिलेगा, वेतन नहीं!?

उत्तर प्रदेश में लागू एसएटी रिजवी कमेटी की रिपोर्ट ने पदोन्नत और सीधे भर्ती होने वाले अफसरों के बीच दीवार खड़ी कर दी है। पदोन्नत अफसरों को अब पद और रुतबा तो मिलेगा पर वे सीधे भर्ती होने वाले अफसरों से काफी कम तनख्वाह पाएंगे। प्रदेश में छठवें वेतन आयोग की संस्तुतियां लागू करने को गठित इस कमेटी की सिफारिश पर सरकार ने सीधी भर्ती और पदोन्नत अफसरों का वेतनमान अलग-अलग कर दिया है।

अब तक 8000-13500 वेतनमान से ही राजपत्रित अधिकारियों की शुरूआत होती थी। नायब तहसीलदार से तहसीलदार, आबकारी निरीक्षक से सहायक आबकारी आयुक्त के पद पर पदोन्नत होने वालों को यही वेतनमान मिलता था। सीधे भर्ती होने वाले भी इसी वेतनमान पर काम करते थे। अब पदोन्नत अफसर का वेतनमान 9300-34800 होगा जबकि सीधे भर्ती होने वाले अफसर का 15600-39100। अमर उजाला की ख़बर के अनुसार यह स्पष्ट है कि पदोन्नत अफसरों का मूल वेतन सीधी भर्ती वाले से 6300 रुपये कम (15600-9300) होगा। एसडीएम, एसपी, बीडीओ, पुस्तकालयाध्यक्ष, संख्याधिकारी, लेखाधिकारी, सहायक अभियंता का वेतनमान भी 8000-13500 है। इनका वेतनमान 15600-39100 हो जाएगा क्योंकि यह पद सीधे उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग से भरे जाते हैं।

तहसीलदारों और नायब तहसीलदारों के संगठन राजस्व (प्रशासनिक) अधिकारी संघ ने इस निर्णय का विरोध करते हुए 9300-34800 वेतनमान का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है। संघ के प्रांतीय उपाध्यक्ष आशीष मिश्र का कहना है कि पदोन्नत अफसरों को भी 15600-39100 वेतनमान दिया जाए। बकौल मिश्र बीडीओ और तहसीलदार के कार्य क्षेत्र, दायित्व में काफी अंतर है। तहसीलदार की अपेक्षा बीडीओ का वेतन 68 प्रतिशत अधिक किया जाना न्यायोचित नहीं।

नववर्ष २००९ की हार्दिक शुभकामनाएं

आप सभी को
नववर्ष २००९ की हार्दिक शुभकामनाएं
वर्ष २००९ आपके लिए शुभ हो, मंगलमय हो

रेल कर्मियों का Night Duty Allownce दुगना

रेल कर्मियों के नाइट डयूटी एलाउंस में तकरीबन दुगना इजाफा कर दिया गया है। उत्तर मध्य रेलवे मुख्यालय में रेलवे बोर्ड से आए पत्र में पे बैंड के आधार पर नया एलाउंस लागू करने की सूचना दी गई है। इसके तहत कर्मचारियों के लिए नए दर का नाइट डयूटी एलाउंस तीन महीने पीछे से देना तय किया गया है। रेलवे बोर्ड से 16 दिसंबर को जारी पत्र में कर्मचारियों के लिए बढ़ी हुई दर का रात्रि कालीन भत्ता पहली सितंबर 08 से लागू करने को कहा गया है।

संशोधित दर के तहत 4440-7440 पे बैंड के 1300 ग्रेड पे पर 26.05 रुपये, 1400 ग्रेड पे पर 26.40 रुपये,- 1600 ग्रेड पे पर 27.15 रुपये, 1650 ग्रेड पे पर 27.30 रुपये रात्रिकालीन भत्ता तय किया गया है। 5200-20200 पे बैंड के 1800 ग्रेड पे पर 52.15 रुपये, 1900 ग्रेड पे पर 52.50 रुपये, 2000 ग्रेड पर 52.85 रुपये, 2400 ग्रेड पे र 54.30 रुपये एवं 2800 ग्रेड पे पर 55.75 रुपये नाइट डयूटी एलाउंस सुनिश्चित किया गया है। 9300-34800 पे बैंड के 4200 ग्रेड पे पर 94.45 रुपये और 4600 ग्रेड पे पर 95.85 रुपये भत्ता तय किया गया है।

नई दर से वर्कशॉप के कर्मचारियों-अधिकारियों के लिए रात्रि कालीन भत्ता सामान्य कर्मचारी-अधिकारी की तुलना में डेढ़ गुना किया गया है। लेखा विभाग के अधिकारियों के अनुसार नई दर से कर्मचारियों को तकरीबन दूना लाभ हो रहा है। उधर, लेखा विभाग के अधिकारियों के अनुसार नई दर पिछली तारीख में लागू किए जाने से कर्मचारियों को सितंबर, अक्तूबर और नवंबर के नाइट डयूटी एलाउंस का एरियर दिसंबर महीने के वेतन में जोड़ कर दिया जाएगा।